सभी साधकों को शरत्पूर्णिमा पर्व एवं जगद्गुरूत्तम जयन्ती की हार्दिक बधाई!
इस साधन साध्य अंक में वेदों शास्त्रों द्वारा प्रमाणित भक्तियोगरसावतार जगद्गुरु श्री कृपालु जी महाराज के प्रवचनों पर आधारित ‘भक्ति तत्त्व’ का निरूपण किया गया है।
आचार्य श्री ने भक्ति सम्बन्धी शास्त्रीय ज्ञान को जन-जन तक पहुँचाने के लिये अथक परिश्रम किया है।
उनकी जन्मस्थली श्री कृपालु धाम मनगढ़ आज भक्ति का एक विशाल केन्द्र बन गया है। यहाँ भक्तिरस की नित्य निरंतर धारा प्रवाहित होती रहती है जिसने भक्ति मन्दिर, गुरुधाम भक्ति मन्दिर, भक्ति भवन, भक्ति कुंज इत्यादि के रूप में साकार रूप धारण कर लिया है। इन दिव्य स्थलियों में प्रवेश करते ही पत्थर से पत्थर हृदय में भी भक्तिरस का संचार होने लगता है।
आचार्य श्री ने देश ही नहीं वरन् विदेशों में भी भक्ति का धुआँधार प्रचार किया है। भक्ति को इतना सरल एवं सुगम बना दिया कि बच्चे से लेकर बूढ़े तक सभी उनके प्रवचन, संकीर्तन का श्रवण करके अथवा उनके द्वारा रचित ग्रन्थों को पढ़कर भक्ति के रंग में रंग जाते हैं। ऐसे भक्तियोग के परमाचार्य, श्री राधाकृष्ण भक्ति के मूर्तिमान स्वरूप प्रिय गुरुवर की सदा ही जय हो!!
Sadhan Sadhya - Hindi - Sharat Poornima 2024VARIANT | SELLER | PRICE | QUANTITY |
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सभी साधकों को शरत्पूर्णिमा पर्व एवं जगद्गुरूत्तम जयन्ती की हार्दिक बधाई!
इस साधन साध्य अंक में वेदों शास्त्रों द्वारा प्रमाणित भक्तियोगरसावतार जगद्गुरु श्री कृपालु जी महाराज के प्रवचनों पर आधारित ‘भक्ति तत्त्व’ का निरूपण किया गया है।
आचार्य श्री ने भक्ति सम्बन्धी शास्त्रीय ज्ञान को जन-जन तक पहुँचाने के लिये अथक परिश्रम किया है।
उनकी जन्मस्थली श्री कृपालु धाम मनगढ़ आज भक्ति का एक विशाल केन्द्र बन गया है। यहाँ भक्तिरस की नित्य निरंतर धारा प्रवाहित होती रहती है जिसने भक्ति मन्दिर, गुरुधाम भक्ति मन्दिर, भक्ति भवन, भक्ति कुंज इत्यादि के रूप में साकार रूप धारण कर लिया है। इन दिव्य स्थलियों में प्रवेश करते ही पत्थर से पत्थर हृदय में भी भक्तिरस का संचार होने लगता है।
आचार्य श्री ने देश ही नहीं वरन् विदेशों में भी भक्ति का धुआँधार प्रचार किया है। भक्ति को इतना सरल एवं सुगम बना दिया कि बच्चे से लेकर बूढ़े तक सभी उनके प्रवचन, संकीर्तन का श्रवण करके अथवा उनके द्वारा रचित ग्रन्थों को पढ़कर भक्ति के रंग में रंग जाते हैं। ऐसे भक्तियोग के परमाचार्य, श्री राधाकृष्ण भक्ति के मूर्तिमान स्वरूप प्रिय गुरुवर की सदा ही जय हो!!
Language | Hindi |
Genre | Spiritual Magazine |
Format | Magazine |
Author | Radha Govind Samiti |
Publisher | Radha Govind Samiti |
Dimension | 21.5cm X 28cm X 0.6cm |